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दिन 1: दिल्ली से शिमला

चंडीगढ़ हवाई अड्डे / रेलवे स्टेशन पर पहुंचने पर आप अपने द्वारा की गई या हमारा द्वारा मुहैया कारवाई गई व्यवस्था से शिमला आएंगे । शिमला की ओर अग्रसर होते हुए जैसे ही आप काल्का क्रॉस करेंगे वेसे ही मंत्रमुग्ध कर देने वाली पहाड़ियां और घाटियां आपका स्वागत करने के लिए तयार रहेंगी ओर हम अपेक्षा करते हैं कि आप शिमला की शानदार सड़क यात्रा का पूर्ण आनंद लेंगें ।शिमला पहुंचते ही होटल जाएं और रात्री विश्राम करें  अगर आप अभी भी तारों ताज़ा महसूस कर रहे हों तो आप शिमला लोकल साइटसीन भी कर सकते हैं जैसे कि वाइसरेगल लॉज, संकट मोचन मंदिर, और जाखू मंदिर इत्यादि । हिमाचल टूर पैकेज के इस दिन का समापन रात के भोजन के साथ होगा।

दिन 2 : स्थानीय शिमला और कुफरी।

होटल मे अपना स्वादिष्ट नाश्ता  करने के बाद अपना शिमला का स्थानिय भ्रमण करने के बाद कुफ़री कि ओर प्रस्थान करें जो अपने पर्वतीय इलाकों और हरे-भरे हरियाली के लिए व्यापक रूप से प्रसिद्ध है। यह समुद्र तल से 2400 मीटर की ऊँचाई पर स्थित है अपना कुफ़री का भ्रमण करने बाद आप नारकंडा कि ओर प्रस्थान करें जहां आपका रात्री ठहराव होगा

 

दिन 3: नारकंडा स्थानिय भ्रमण के बाद  सराहन की ओर प्रस्थान

आज के दिन का नाश्ता करने के बाद सुबह का आनंद लेने के लिए हाटू  पीक जाएं जो की समुद्र ताल से 3400 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है अपना हाटू का भ्रमण समाप्त करने के बाद आप तानी जुब्बर झील भी जा सकते हैं को की एक बहुत ही खूबसूरत ओर शांतिप्रिय स्थल है । दोपहर तक अपना नारकंडा का स्थानिय भ्रमण करने के बाद सराहन के लिए प्रस्थान करें जो कि एक बहुत ही खूबसूरत स्थान है जहां से हम किन्नौर और कुल्लू की बर्फ से लदी हुई हिमालयन पहाड़ीओं  का आनंद ले सकते हैं । आपका आज का रात्री ठहराव सराहन मे रहेगा ।

 

दिन 4 : सराहन स्थानिय भ्रमण के बाद  छितकुल की ओर प्रस्थान

अपना आज का नाश्ता ग्रहण करने से पहले माँ भीमाकाली के दर्शन और आश्रीवाद प्राप्त करें यह मंदिर अति  प्राचीन है और अपने  इतिहास और लकड़ी के शिल्प वास्तुकला के लिए प्रसिद्ध है । यहाँ आप हिमालय से आने वाली सराहन में बर्फीली हवा को महसूस कर सकते हैं

माँ भिमाकाली से आश्रीवाद लेने का बाद अपना नाश्ता करने के बाद, हम सांगला होते हुए छितकुल की ओर बढ़ेंगे । यह किन्नौर जिले के सबसे खूबसूरत गाँवों में से एक है, जो चारों ओर से बर्फीली चोटियों, हरे-भरे मैदानों से घिरा हुआ है। चितकुल सुरम्य स्थान है । छितकुल भारत-चीन सीमा के पास आखिरी आबाद गाँव है यहाँ भारतीय सड़कें समाप्त होती हैं । छितकुल में पारंपरिक किन्नौरी शैली के लकड़ी के मकान हैं, जिनमें स्लेट की छतें और चाय की छोटी दुकानें हैं। इस घाटी का भ्रमण करने के बाद रात्री ठहराव के लिए सांगला आयें

 

दिन 5 : सांगला भ्रमण से  कल्पा घाटी

नाश्ते के बाद, आपके पास सांगला की सुरम्य वादिओं का भ्रमण कर सकते हैं यह एक बेहद  खूबसूरत घाटी है जो कि बर्फ से ढकी चोटियों से घिरा हुआ है यह किन्नौर जिले की सबसे सुंदर घाटी है आप यहां की प्राकृतिक सुंदरता का आनंद लें।

अब, अपनी अगली मंजिल यानी कल्पा की ओर प्रस्थान करें यह किन्नौर जिले का एक बेहद खूबसूरत हिल स्टेशन है । यह किन्नर कैलाश पर्वत श्रृंखला के बैक-ड्रॉप में स्थित है । कल्पा अपने रॉयल सेब के बागों के लिए प्रसिद्ध है। इस घाटी का भ्रमण करने के बाद रात्री ठहराव के लिए होटल वापिस आयें उचित आराम करें क्योंकि अगले दिन का सफर बहुत लंबा होने वाला है।

 

दिन 6 : नाको-ताबो की यात्रा।

नाश्ते के बाद अगले अद्भुत गंतव्यों के लिए तैयार हो जाइए जो हैं नाको और ताबो आपने इन जगहों के बारे में तस्वीरें देखी होंगी या तो किसी से इन के बारे मे सुना होगा लेकिन वास्तविक्ता  में ये स्थान उससे बहुत खूबसूरत है । पहले आप नाको में रुकेंगे जो कि बेहद आकर्षक गांव हैं जो चारों ओर के सुरम्य दृश्य प्रस्तुत करता है यह गाँव त्सो पेमा नामक झील छोटी और पवित्र झील के किनारे बसा हुआ है जिसे नाको झील या लोटस झील के नाम से भी जाना जाता है ।

नाको घूमने के बाद आप ताबो के लिए अपनी यात्रा जारी रखेंगे जो हिमालय की गोद में बसा एक छोटा सा सुरम्य गांव है। यह समुद्र तल से 3050 मीटर की ऊंचाई पर है। ताबो को हिमालय के अजंता के रूप में जाना जाता है क्यूंकी यह अपने भित्ति चित्रों और मूर्तियों के लिए प्रसिद्ध है ।

यह एक लंबी यात्रा के बाद रात्री ठहराव के लिए होटल में प्रवेश करें और आराम करें ।

 

दिन 7: काजा और ढंकार मठ

नाश्ते के बाद, काज़ा के लिए अपनी यात्रा शुरू करें आज आप पहले ढंकार मठ जाएंगे जो कि 1200 साल पुराना है । मठ से हमें ढंकार गांव और स्पीति नदी का अद्भुत दृश्य मिलता है।

धनखड़ के बाद काजा के लिए आगे बढ़ें और रात्री ठहराव के लिए होटल में प्रवेश करें और आराम करें। आज  शाम को आप काजा के  स्थानीय बाजार का भ्रमण और खरीदारी भी कर सकते है

 

दिन 8 : एशिया के सबसे ऊंचे गांव और  की-मठ  किबर जाएं।

नाश्ता करने के बाद काज़ा का स्थानिय भ्रमण से अपने दिन की शुरुआत करें अपना स्थानिय भ्रमण समाप्त करने के बाद की मठ की ओर प्रस्थान करें जो काज़ा से 14 kms की दूरी पर है यह मठ हिमाचल प्रदेश का सबसे बड़ा मठ है और इसे 13 वीं शताब्दी में बनाया गया था । की मठ घूमने के बाद आप लंगजा ओर कॉमिक गावं होते हुए रात्री ठहराव के लिए काजा वापिस आयें और अपने होटल में आराम करें ।

 

दिन 9  पिन घाटी की यात्रा

नाश्ता करने के बाद आज की यात्रा के दौरान हम खूबसूरत पिन घाटी की ओर ड्राइव करेंगे यात्रा के दोरान सबसे पहले कुंगरी मठ आएगा इसका भ्रमण करने के बाद पिन घाटी के अंतिम गाड़ी योग्य गांव का नाम मुध के खूबसूरत पड़ाव पर जाएँगे और उसके बाद आप पिन घाटी की खुबसूरती का आनंद लेंगे । पिन घाटी को 1987 में एक राष्ट्रीय उद्यान घोषित किया गया, जिसकी ऊँचाई 3,500 से है 6,000 मी से अधिक है जिसे हम ठंडे रेगिस्तान के रूप से भी जानते हैं यह स्थान का 0 से कम  तापमान और जमी हुई नदीओं और दुर्लभ पौधों की किस्मों के साथ जानवरों और पक्षियों से भरा पड़ा है ।

पिन घाटी हिम तेंदुओं, साइबेरियन आइबेक्स, वीज़ल, भारल, मार्टेन, लाल लोमड़ी, दाढ़ी वाले गिद्ध, चकोर, पिका, ग्रिफ़ॉन, गोल्डन ईगल और रेवेन जैसे जानवरों और पक्षियों का घर हैं। पिन वैली साल के अधिकतम समय बर्फ से ढकी रहती है और इस आकर्षक जगह की ट्रेकिंग केवल उत्साही, साहसी और फिट व्यक्तियों द्वारा की जाती है और  यह क्षेत्र यहां स्थित बौद्ध मठों या गोम्पा के मजबूत धार्मिक प्रभाव में भी है।

इस घाटी को करीब से जानने के बाद रात्री ठहराव के लिए काजा वापिस आयें ।

 

दिन 10: चंद्र ताल झील की यात्रा

नाश्ता करने के बाद आज की यात्रा हम जल्दी शुरू कारेंगें क्यूंकी आज की यात्रा लंबी है । चंद्र ताल झील 4,300 मीटर की ऊंचाई पर है और अपनी प्राकृतिक सुंदरता के लिए प्रसिद्ध है। इस जगह की खूबसूरती देखकर आप मंत्रमुग्ध हो जाएंगे। यह स्थान ट्रेकर्स और कैंपर के लिए एक मुख्य केंद्र है।

रात्री ठहराव के लिए टेंट में आयें और नीले आसमान के नीचे शिविर में अपने रात भर रहने का आनंद लें ।

 

दिन 11: चंद्र ताल झील से मनाली की यात्रा

नाश्ते के बाद, अपने दिन की शुरुआत चंद्र ताल झील के दर्शनीय स्थलों से करें। इस खूबसूरत जगह पर जाने के बाद अब मनाली के लिए आगे बढ़ें । दुनिया के सबसे ऊंचे दरों से होते हुए मनाली पहुंचे। ह  इस लंबी यात्रा के बाद आपको अब आराम करना है।

इस लंबी यात्रा के बाद आपको अब आराम करना है। मनाली के होटल में अपनी रात ठहरने का आनंद लें।

 

दिन 12: मनाली स्थानीय भ्रमण ।

शुभ प्रभात! "अद्भुत मनाली" के लिए तैयार हो जाइए। मनाली उत्तर भारत का एक प्रसिद्ध पर्यटन स्थल है। साहसिक, स्कीइंग, राफ्टिंग, ट्रेकिंग, शांति और अनन्त संतुष्टि के लिए दुनिया भर से पर्यटक यहां आते हैं। मनाली में, आपको कई गंतव्य मिलेंगे, लेकिन उनमें से कुछ हैं। हिडिम्बा देवी मंदिर, 1553 में महाराजा बहादुर सिंह द्वारा निर्मित, हिडिम्बा मंदिर एक चार मंजिला लकड़ी का ढाँचा है जिसकी ऊँचाई 24 मीटर तक है। वशिष्ठ मंदिर, यह मनाली से 3 किमी दूर स्थित है। मंदिरों का एक जोड़ा एक दूसरे के विपरीत है। एक मंदिर भगवान राम को समर्पित है और दूसरा मंदिर ऋषि वशिष्ठ को है। यह अपने गर्म सल्फर स्प्रिंग्स के लिए भी जाना जाता है। मनु मंदिर जो पुरानी मनाली में मुख्य बाजार से 3 किमी की दूरी पर स्थित है, माना जाता है कि मंदिर मनु का निवास है, जो विश्व का प्राचीन कानून - दाता है। आपका रात्री भोजन और प्रवास होटल में होगा।

दिन 13 : सुखद यादों के साथ घर वापसी

होटल में स्वादिष्ट भोजन का आनंद लेने के बाद, होटल से चेकआउट करें।  चेकआउट के बाद हम आपको दिल्ली या चंडीगढ़ लेजाएंगे जहां से आप अपनी इस यात्रा कि सुखद यादों के साथ घर जाएंगे ।

  • नाश्ता और रात के खाने के साथ आवास।
  • पूरी यात्रा के लिए टैक्सी।
  • वेलकम ड्रिंक (नॉन एल्कोहलिक)।
  • टैक्स:  टोल टैक्स, लक्ज़री टैक्स, ग्रीन टैक्स, ईंधन खर्च, ड्राइवर शुल्क और पार्किंग शुल्क शामिल हैं।
  • जी.एस.टी. (GST) शामिल है
  • हवाई किराया ।
  • हीटर का शुल्क ।
  • दोपहर का भोजन।
  • यात्रा बीमा ।
  • कोई भी अन्य भोजन जो पैकेज में शामिल नहीं है।
  • लॉन्ड्री सेवा शुल्क को बाहर रखा गया है।
  • व्यक्तिगत सभी खर्च जैसे फोन कॉल, कपड़े धोने, कोल्ड ड्रिंक आदि।
  • सभी प्रवेश शुल्क। जैसे कि किसी पार्क या संग्रहालय में ली जाने वाली राशी, कैमरा शुल्क, स्मारक शुल्क, गतिविधियाँ शुल्क अथवा जिसे "पैकेज की लागत में शामिल" नहीं किया गया है।
  • लैंड स्लाइड, रोड ब्लॉकेज या एक्ट ऑफ गॉड एक्टिविटी जैसे किसी भी कारण से दौरे में देरी। हमारे नियंत्रण से परे स्थितियां: सुपीरियर फोर्स (प्राकृतिक आपदाएं, हर्ष जलवायु संबंधी स्थितियां आदि), हड़तालें, व्यक्तिगत चोटें, संपत्ति क्षति, सरकारी निगरानी में होटल / एयरलाइंस, विशेष क्षेत्र में सरकारी नियंत्रण / संघ की नीतियां आदि। इन मामलों में No Refund policy लागू किया जा सकता है और ग्राहक को इन परिस्थितियों के कारण रद्दीकरण शुल्क या कोई अतिरिक्त व्यय वहन करना पड़ सकता है। हालांकि हम इन घटनाओं के दौरान पूर्ण सहयोग प्रदान करेंगे और हम आपसे भी यही उम्मीद करते हैं।

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